नूंह हिंसा के बाद हरियाणा पुलिस लगातार कार्रवाई कर रही है। गुरुवार को नूंह हिंसा के दो आरोपियों का पुलिस ने एनकाउंटर किया गया है। मुठभेड़ के दौरान एक आरोपी को गोली लगी है। बीती 6 अगस्त तक पुलिस ने कार्रवाई कर 104 एफआईआर दर्ज की हैं और 216 आरोपियों को गिरफ्तार किया है। जबकि 88 और लोगों को हिरासत में लिया गया। इन सभी से पूछताछ हो रही है।
![Haryana Nuh Violence Encounter : Haryana Nuh के दो आरोपियों का एनकाउंटर, एक आरोपी के पैर में लगी पुलिस की गोली 7 Encounter](https://ainews18.com/wp-content/uploads/2023/08/Encounter.jpeg)
Muslim व्यापारियों के प्रवेश पर लगाई रोक, Haryana की पंचायतों ने जारी किया फरमान
हरियाणा के नूंह में भड़की सांप्रदायिक हिंसा की आग के बाद तीन जिलों- रेवाड़ी, महेंद्रगढ़ और झज्जर की 50 से अधिक पंचायतों ने मुस्लिम व्यापारियों के प्रवेश पर रोक लगाने के लिए पत्र जारी किए हैं।
हरियाणा के नूंह में भड़की सांप्रदायिक हिंसा की आग के बाद माहौल अब शांत होने लगा है। इसी बीच पंचायतों ने ऐसा फरमान जारी किया है जिससे टेंशन बढ़ सकती है।
दरअसल, तीन जिलों- रेवाड़ी, महेंद्रगढ़ और झज्जर की 50 से अधिक पंचायतों ने मुस्लिम व्यापारियों के प्रवेश पर रोक लगाने के लिए पत्र जारी किए हैं। सरपंचों द्वारा साइन किए गए इन पत्रों में यह भी कहा गया है कि गांवों में रहने वाले मुसलमानों को पुलिस के पास अपने पहचान से संबंधित दस्तावेज जमा करने होंगे।
नूंह हिंसा का हवाला देते हुए कुछ सरपंचों ने मुस्लिम व्यापारियों की अपने इलाकों एंट्री पर रोक की मांग की है। इसके पीछे तर्क दिया जा रहा है कि एक विशेष समुदाय के लोग चोरी की घटनाओं को अंजाम देते हैं, ऐसे में उन पर रोक लगनी चाहिए।
पड़ैयावास के सरपंच विजेंदर सिंह ने कहा कि पत्र लिखा गया था, लेकिन वो तब दिया गया जब हिंसा शुरू हुई थी। अब उन्होंने कहा है कि मुस्लिम समुदाय से उन्हें कोई दिक्कत नहीं है और पत्र भी वापस ले लिया गया है।
इस खबर के सामने आने के बाद रेवाड़ी में जिलाधिकारी ने इस मामले की जांच के आदेश दे दिए हैं। प्रशासन यह जानने की कोशिश कर रहा है कि किन लोगों की तरफ से ऐसी अपील की गई है। प्रशासन का कहना है कि इस तरह का कोई भी पत्र संविधान के खिलाफ है और इस पर कार्रवाई जरूरी है।
नूंह में हिंदू संगठनों की तरफ से ब्रजमंडल यात्रा निकाली जा रही थी। तय प्लान के अनुसार, मेवात में शिव मंदिर के सामने से बृजमंडल यात्रा शुरू की गई। यात्रा पर पथराव हो गया।
बृजमंडल यात्रा में बजरंग दल के कई कार्यकर्ता पहुंचे थे। मोनू मानेसर के एक वीडियो के बाद हिंसा भड़क गई थी। असल में हिंसा से दो दिन पहले मोनू मानेसर ने कहा था कि नूंह से जो वीएचपी की यात्रा निकलने वाली है, उसमें वे भी शामिल होंगे। उस एक वीडियो के बाद दूसरे समुदाय के लोगों की तरफ से भी भड़काऊ पोस्ट शेयर किए गए।
मोनू मानेसर ने यह भी कहा था कि वह खुद भी इस यात्रा में शामिल होगा। लेकिन, मोनू मानेसर यात्रा में शामिल नहीं हुआ। यात्रा में बिट्टू बजरंगी नाम के कथित गोरक्षक के शामिल होने पर तनाव बढ़ा था। नूंह में दूसरे पक्ष के लोगों ने हंगामा कर दिया था। हिंसा में 6 लोगों की मौत हो गई थी।